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शिक्षा मधुबन(विद्यालय) में माली(शिक्षक) नन्हें पौधे(विद्यार्थी) को खाद-पानी(शिक्षा) दे कर एक सुगंधित,मनमोहक और फलदार वृक्ष(काबिल इंसान) बनाता है।

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GSM TEACHER - JAYANT PATHAK, "श्रेष्ठ शिक्षक वही जिसमे हो सीखने की ललक" कथन को साकार करने वाले नवाचारी शिक्षक

शिक्षक का नाम- जयन्त कुमार पाठक
पदनाम - सहायक शिक्षक
प्रथम नियुक्ति -  02/06/2009
प्रथम नियुक्ति संस्था का नाम - प्राथमिक शाला सीताचुआं, नवाडीह (रामचन्द्रपुर-रामानुजगंज)
वर्तमान पदस्थ संस्था का नाम:- प्राथमिक शाला भुईयांपारा, सरहरी (प्रतापपुर, सूरजपुर) 13/06/2016 से
शैक्षणिक योग्यता- एम0 ए0 (हिंदी)
व्यवसायिक योग्यता - डी0 एड0
मोबाइल नंबर :- 9165915780

शिक्षक द्वारा किए गए कार्यों की जानकारी :-

 ● नियमित उपस्थिति हेतु पालक सम्पर्क :-  बच्चों की नियमित उपस्थिति हेतु शिक्षक द्वारा प्रतिदिन  पालक सम्पर्क करते हैं, शिक्षक द्वारा अनुपस्थित छात्रों को घर से अपने साथ लेकर आना । 

 ● प्रार्थना के बाद प्रतिदिन सामान्य ज्ञान, नैतिक शिक्षा, रोचक बातें एवं बच्चों द्वारा अपनी मन की बात कहना जिससे बच्चों में झिझक दूर हो सके।

 ● भोजन से पूर्व प्रार्थना :- शाला में अध्ययनरत छात्र प्रतिदिन एक साथ बैठकर भोजन मंत्र के बाद मध्यान्ह भोजन ग्रहण करते हैं ।

● TLM एवं कबाड़ से जुगाड़ का  उपयोग :- शिक्षक द्वारा गणित की संक्रियाओ को आसानी से बॉस की तिल्ली, कंकड़, कंचा द्वारा गतिविधि । 

● शाला प्रगति जनकोष संघटन का निर्माण :- जिसमें शाला के शिक्षक हर माह 100-100 रुपये (जरूरत पड़ने पर आवश्कतानुसार) जमा करना व जन सहयोग द्वारा आवश्यक सामग्री(पेन कॉपी स्लेट इत्यादि) या रुपये जमा करना पालकों द्वारा श्रमदान करना इत्यादि।

 ● शिक्षक द्वारा बच्चों की मातृ-भाषा का उपयोग कर शिक्षण दिया जाता है, जिसमें बच्चे रुचिपूर्वक भाग लेकर सीखते हैं । 

● शाला के सभी बच्चों को ठंड से बचने के लिए समाजसेवी, जनसमुदाय के द्वारा स्वेटर का वितरण, शिक्षक के स्वयं के खर्च से बच्चियों को स्लेक्स वितरण किया गया। 
 

● पुरस्कार वितरण :- माह के अंत में बच्चों को स्वच्छता, नियमित उपस्थिति, पढ़ाई, खेलकूद व सभी का सहयोग करने वाले बच्चों को श्रेणी में  दिया जाता है।

● स्वच्छता व मेडिकल किट की उपलब्धता, बच्चों की साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाता है।

● वर्ष 2012-2013 से यूट्यूब व गूगल द्वारा मोबाइल से पढ़ाना- वीडियो, चित्रों के माध्यम से बच्चों को दिखाना।
 
● 3D काँच का उपयोग :- मोबाइल का स्क्रीन छोटा होने के कारण सभी बच्चे एक साथ नहीं देख पाते थे व चित्र छोटा दिखाई देता था। इसके उपयोग से सभी बच्चे दूर से बैठकर देख सकते हैं।

● ऑनलाइन सर्टिफिकेट CHALKLIT, द टीचर एप्प्स, MY GOV, बैठक (सम्पर्क फाउंडेशन),NIEPA (SCHOOL LEADERSHIP AND MANGAGEMENT), imd1, LLF,लक्ष्यवेद, राष्ट्रीय शिक्षा नीति, पोषण अभियान 
 इत्यादि में 150 से अधिक E-CERTIFIATE 

● शाला का व्हाटसएप्प ग्रुप बनाकर  विषय संबंधित वीडियो, इमेज, होमवर्क आदि देना ।

■ Covid-19 में :-

● पढ़ाई तुंहर दुआर के अंतर्गत 4 श्रेणियों में E-सर्टिफिकेट प्राप्त हुआ है। जिसमें से डिजिटल सामग्री अपलोड में छत्तीसगढ़ में पहला स्थान

● ऑनलाइन ऑफलाइन क्लास :-  कोरोना काल में  बच्चों को वर्चुअल क्लास के माध्यम से पीपीटी/पीडीएफ से  छात्र नियमित ऑनलाइन पढाई कर रहे हैं। जिनके पास की-पैड मोबाइल है, उन बच्चों को Message व फ़ोन कर कर समस्या का समाधान किया जा रहा है, बीच-बीच में बच्चों से सम्पर्क कर पढ़ाई कार्य किया जा रहा है । अब तक 291 ऑनलाइन क्लास लिया जा चुका है।

● बच्चों को कॉपी, कलम, मास्क, साबुन का वितरण स्वयं के व्यय पर।

● Google Form से टेस्ट :- नियमित रूप से बच्चों को प्रत्येक दिन Test का आयोजन किया जा रहा है।

















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